बुधवार, 9 जनवरी 2013

ख्वाब बनकर आए थे


ख्वाब बनकर आए थे, ज़िन्दगी में वो 'नक्षत्र' कभी 
आज तक हकीकत से, परदा किये बैठे है 

-अंकित कुमार 'नक्षत्र'

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